त्रिफला पाचन सुधारने और शरीर को डिटॉक्स करने के लिए प्रसिद्ध है, लेकिन कुछ स्थितियों में इसका सेवन नुकसान पहुंचा सकता है। आइए PubMed की रिपोर्ट से जानते हैं कब और किसे इससे बचना चाहिए।
त्रिफला क्या है?
त्रिफला तीन फलों का मिश्रण है, हरड़, बहेड़ा और आंवला। यह आयुर्वेद में कब्ज, पाचन, और इम्युनिटी के लिए उपयोग होता है। लेकिन इसका असर हर किसी पर एक जैसा नहीं होता।
किन्हें त्रिफला नहीं लेना चाहिए?
जिन्हें दस्त (loose motion) की समस्या है, उन्हें त्रिफला से बचना चाहिए। यह शरीर को और ज्यादा ढीला कर सकता है जिससे डिहाइड्रेशन हो सकता है।
गर्भवती महिलाएं
गर्भवती महिलाओं को त्रिफला लेने से पहले डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए। यह गर्भाशय संकुचन को उत्तेजित कर सकता है जो गर्भस्थ शिशु के लिए जोखिमपूर्ण हो सकता है।
बच्चों में न करें प्रयोग
छोटे बच्चों के लिए त्रिफला उपयुक्त नहीं है। उनका पाचन तंत्र बहुत सेंसिटिव होता है और यह मिश्रण उनके लिए बहुत ज्यादा शक्तिशाली हो सकता है।
दवा लेने वाले लोग सावधानी रखें
अगर आप डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर या ब्लड थिनर जैसी दवाएं ले रहे हैं, तो त्रिफला आपके दवा के असर में बाधा डाल सकता है। डॉक्टर से सलाह जरूरी है।
स्तनपान कराने वाली महिलाएं
स्तनपान के दौरान त्रिफला का असर शिशु पर पड़ सकता है। ऐसे में बिना विशेषज्ञ सलाह के इसका सेवन नहीं करना चाहिए।
सही समय और मात्रा
अगर आप स्वस्थ हैं और त्रिफला लेना चाहते हैं तो इसे रात को हल्के गुनगुने पानी के साथ लिया जा सकता है, लेकिन शुरू में बहुत कम मात्रा से शुरुआत करें।
त्रिफला बहुत लाभकारी है, लेकिन सभी के लिए नहीं। यदि कोई स्वास्थ्य समस्या है या आप दवा ले रहे हैं, तो पहले आयुर्वेदाचार्य या डॉक्टर से सलाह लें। सही व्यक्ति को सही मात्रा में ही यह फायदा पहुंचाता है। सेहत से जुड़ी और जानकारी के लिए पढ़ते रहें onlymyhealth.com